Monday, March 16, 2015

सरकार बर्बाद फसलों वाले किसानों को बेटीयों की शादी में मदद करें: महिला विधायक


ए.एस. सिलावट                                                         
राजस्थान विधानसभा में मौन दर्शक बनकर बैठी रहने वाली महिला विधायकों ने आज ओलावृष्टी और किसानों की बर्बादी की बहस में सिर्फ औपचारिकता ही नहीं निभाई बल्कि अपने क्षेत्र की फसलों की बर्बादी के आंकड़े, आकाशीय बिजली गिरने से घायल, मृतक, मकानों के नुकसान में महिला विधायकों ने अपने विधायक कोष से दी गई राहत की जानकारी भी दी।
राजस्थान में पिछले सप्ताह भर से चल रही ओलावृष्टी, बेमौसम बरसात और इससे खराब हुई फसलों की गूंज विधानसभा में इतनी तेज हुई कि विधानसभा का प्रश्नकाल भी आज खत्म कर फसलों के नुकसान और किसानों की बर्बादी पर चर्चा की गई। किसान को राहत दी जाये इस बात पर पक्ष-विपक्ष दोनों ही विधायकों में एक समान चिन्ता थी।
भोपालगढ़ (जोधपुर) विधायक कमसा मेघवाल ने सरकार से किसानों की बर्बाद फसल के मुआवजे के साथ उन किसानों की आर्थिक मदद का सुझाव भी दिया जिनकी जवान बेटीयों की शादी मौजूदा फसल से आने वाले पैसों से इस बार 'आखातीजÓ पर होने वाली थी, लेकिन ओलावृष्टी से बर्बाद फसलों के कारण उस किसान की जवान बेटीयों की शादी नहीं हो पायेगी। विधायक कमसा ने मुख्यमंत्री से मांग करते हुए कहा कि किसान की बेटीयों की शादी के लिए दिये जाने वाली आर्थिक सहयता के लिए पक्ष-विपक्ष के साथ पूरा राजस्थान समर्थन में हैं और अन्य प्रदेशों में फसलों की बर्बादी के बाद आत्महत्या करने वाले किसानों के जीवन रक्षा हेतु वहां की सरकारों के लिए राजस्थान की पहल अनुकरणीय उदाहरण भी होगा।
सवाई माधोपुर विधायक राजकुमारी दीया कुमारी ने अपने क्षेत्र की फसलों की बर्बादी का आंकलन तहसीलदार-पटवारी के साथ करने और अपने विधायक कोष से प्रारम्भिक मदद की जानकारी के साथ मांग करते हुए कहा कि किसान की फसलों की बर्बादी की निश्चित सीमा के बाद मुआवजे की शर्त हटाकर थोड़े नुकसान पर थोड़ा और अधिक नुकसान पर अधिक मुआवजा दिया जाना चाहिये।
बिहार की राबड़ी देवी के बाद पति के साथ राजनीति में प्रवेश कर अपने पारम्परिक पहनावे और मूल भाषा में अपनी बात रखने में सक्षम राजगढ़ विधायक श्रीमती गोलमा देवी ने ओलावृष्टी से बर्बाद फसलों में नाम ले-लेकर अपने क्षेत्र के नुकसान की जानकारी के साथ किसानों को तत्काल राहत देने की मांग भी की।
राजस्थानी परिवेष में परम्परागत सर पर पल्लू लिये मसूदा विधायक सुशीला कंवर ने फसलों की बर्बादी का आँखों देखा हाल तो बताया ही साथ ही फसलों के अलावा प्राकृतिक आपदा में घायलों को विधायक कोष से मदद देने की जानकारी भी दी।
विधायक पर भारी पटवारी
राजस्थान सरकार द्वारा ओलावृष्टी से बर्बाद फसलों की मुआवजा राजस्व विभाग द्वारा भेजी गई सर्वे को आधार मानकर निश्चित करने पर आपत्ति करते हुए विधायक गुरजन्ट सिंह (गंगानगर) कांगे्रस के रमेश एवं अन्य ने सरकार से विधायकों को एक दिन के लिए अपने क्षेत्रों में जाकर सही रिपोर्ट लाने का सुझाव दिया साथ ही एक छोटे से कर्मचारी पटवारी की सर्वे रिपोर्ट के सामने विधायकों के सुझाव को नहीं मानने पर भी आपत्ति दर्ज करवाई गई।
विधानसभा में विधायकों ने इस परम्परा को खत्म करने का सुझाव देते हुए कहा कि लाखों लोगों का प्रतिनिधित्व करने वाले विधायक अपने क्षेत्र की बर्बादी की सही जानकारी देता है, लेकिन सरकार की रिपोर्ट को आधार मानकर किसानों की क्षतिपूर्ति में दी जाने वाली राहत में आलोचना की शिकार होती है।
विधानसभा में ओलावृष्टी पर सुझाव देने वाले अधिकतर विधायकों ने किसानों की बर्बादी पर मुख्यमंत्री वसुन्धरा राजे द्वारा तत्काल कदम उठाकर छुट्टी के दिन भी जिला कलेक्टरों से विडियो कांफ्रेंसिंग के द्वारा रिपोर्ट तलब करने की सराहना करते हुए मुख्यमंत्री राजे का आभार व्यक्त किया।
(लेखक वरिष्ठ पत्रकार एवं राजनीतिक विश्लेषक हैं)

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